
जिले के ग्रामीण अंचलों में विद्युत व्यवस्था चौपट, ग्रामीण हलकान
अटल ज्योति योजना बनी लटक ज्योति योजना,
जनपथ टुडे, डिंडोरी, 12 सितम्बर 2020, प्राप्त हो रही जानकारी के अनुसार किसलपुरी सहित आसपास के सैकड़ों गाँव इस समय बिजली की आंख मिचौली से परेशान है। लगातार कई दिनों से विधुत विभाग की मनमानी के चलते इन गाँवो में अंधेरे में रात गुजारने लोग मजबूर है। सरकार के बड़े बड़े वादे और दावे हो रहे है खोखले साबित।
विघुत विभाग के आगे सरकार की योजना भी नतमस्तक दिखाई दे रही है , सरकार जनता से दिखावे के वादे करती है जबकि जमीनी हकीकत उससे बिलकुल अलग है। बरसात का मौसम चल रहा है, जहरीले जीव जंतु, लोगो के घरों में घुस रहे है ओर आम जनता को इससे जान का खतरा बना रहता है, वही रात रात भर बिजली बंद रह रही है जिससे लोगो को काफी परेशानी हो रही है, और लोग अंधेरे में दहशत में रात गुजार रहे है। बिजली विभाग के अधिकारी , कर्मचारियों को ग्रामीण विधुत समस्या के लिए फोंन करते है तो जवाबदारों द्वारा गोलमोल जवाब दे दिया जाता और ग्रामीणों की समस्या लगातार महीनों से ऐसी ही बनी हुई है पर विधुत विभाग के कर्मचारियों को आम जनता की समस्या से कोई सरोकार नही वो सिर्फ अपनी मनमानी पे उतारू है।
ग्रामीणों द्वारा बिजली की समस्या की शिकायत लगातार विधुत विभाग सहित जनप्रतिनिधियों को दी जा रही है पर विधुत की समस्या का निराकरण नही हो पा रही है, और महीनों से लगातार आमजन बिजली की आंख मिचौली से परेशान है, बिजली न रहने के कारण नलजल योजना द्वारा पीने की पानी की सप्लाई भी सुचारू रूप से नही हो पा रही है जिससे आमजनता को पीने का पानी भी नही मिल पा रहा है, आखिर विधुत विभाग की मनमानी कब खतम होगी और कब आमजनता को सुचारू रूप से विधुत प्रदाय की जा सकेगी।
विद्युत विभाग के अधिकारियों को नहीं परवाह
इस तरह की समस्या पूरे जिले के ग्रामीण अंचलों में है किन्तु इससे जिला प्रशासन पूरी तरह अनभिज्ञ है। शासन आदिवासी अंचल में विद्युत व्यवस्था पर करोड़ों रुपए खर्च कर रहा है जिसमें हो रहे भ्रष्टाचार और गुणवत्ताहीन कार्यों का नतीजा है कि गांव गांव की लाइनों में रोज फाल्ट हो जाता है, बिजली के खंभे गिर जाते है तो कहीं ट्रांसफार्मर फ़ुक जाते है। जिला प्रशासन को इसकी समीक्षा करनी चाहिए कि जब जिले में न तो कोई औद्योगिक लोड है न किसानों की बिजली खपत है तब भी विद्युत आपूर्ति क्यों नहीं हो पा रही ग्रामीण क्षेत्रों में? जब अधिक लोड ही नहीं है लाइनों पर तब नियमित फाल्ट कैसे आ जाता है? किसी भी क्षेत्र में विद्युत व्यवस्था हप्तो तक क्यों नहीं सुधर पाती जब विभाग के पास पर्याप्त अमला है, साधन है, सुविधाएं है और पूर्ण राजस्व की उगाही जी रही है। जिले के ग्रामीण अंचलों की लगातार खराब बनी रहने वाली विद्युत आपूर्ति यह साबित करती है कि जिले में पदस्थ अधिकारी जनता के प्रति गैर जिम्मेदाराना है और अमला नकारा साथ ही जिले में होने वाले करोड़ों के विद्युत विस्तार के कार्य भ्रष्टाचार के चलते गुणवत्ताविहीन हो रहे है और इनकी कोई निगरानी और समीक्षा नहीं होने से विद्युत विभाग पूरी तरह से मनमानी पर उतारू है।