
फॉरेस्ट में चली गई वर्षों से काबिज भूमि- ग्रामीण कर रहे हैं पुनः सर्वेक्षण , नक्शा सुधार की मांग

विकासखंड करंजिया के ग्राम चकरार का मामला , बड़ी संख्या में जिला मुख्यालय पहुंचे ग्रामीण, तहसीलदार को सौंपा आवेदन

संपादक प्रकाश मिश्रा 8963976785
जनपथ टुडे डिण्डौरी 02 दिसम्बर 2025- पिछली कई पीढियों से जिस भूमि पर जनजाति आदिवासी बैगा समाज के लोग कृषि कार्य करते हुए अपना जीवन यापन कर रहे थे आज वन ग्राम और राजस्व ग्राम परिवर्तन के चक्कर में वह भूमि इन भोले भाले आदिवासियों के हाथ से छिनती हुई नजर आ रही है । दरअसल करंजिया विकासखंड के बैगाचक कहे जाने वाले चाड़ा के चकरार नामक गांव में वन विभाग के द्वारा किए जा रहे भूमि के नापजोक में चकरार के ग्रामीणों की बड़ी मात्रा में भूमि फॉरेस्ट के कब्जे में चली गई है । शासन के निर्देश अनुसार वनग्रामों को राजस्व ग्रामों में परिवर्तित करने की इस प्रक्रिया में कई पीढियों से उस भूमि पर मकान बनाकर कृषि कार्य करते हुए जीवन यापन करने वाले आदिवासी परिवारों पर मानो पहाड़ टूट पड़ा है। ग्रामीण विगत लंबे समय से अपनी जमीन को बचाने के लिए जद्दोजहद कर रहे हैं। विकाखंड से लेकर जिला स्तर तक के अधिकारियों को अपनी समस्या बताते हुए उसके निराकरण के उपाय के लिए चक्कर लगा रहे हैं।
जनसुनवाई में पहुंचे सैकड़ों ग्रामीण महिला पुरुष
2 दिसंबर को सैकड़ो की संख्या में चकरार के ग्रामीण महिला और पुरुष एक बार फिर जनसुनवाई में अपनी समस्या को लेकर खड़े हुए , जहां डिंडोरी तहसीलदार आर पी मार्को को आवेदन देते हुए मांग की कि उन्हें उनकी भूमि जिस पर वह कई वर्षों से काबिज हैं वापस दिलाई जाए। ग्रामीणों ने अपने आवेदन पत्र में लिखा है कि जिस भूमि पर उनका कब्जा है सरकार ने उसका वन अधिकार पत्र भी उन्हें प्रदान किया है । अब विगत कुछ माह पहले फॉरेस्ट ने अपनी सीमाओं का सीमांकन कर उन्हें उस भूमि से बेदखल कर दिया है।
ग्रामीणों की मांग है कि वन विभाग और राजस्व विभाग की सामूहिक टीम गठित करके पुनः सर्वेक्षण का कार्य कराया जाए और उनकी भूमि का नक्शा सुधार कर राजस्व के रिकॉर्ड में दर्ज कराया जाए। इसके साथ ही काबिज भूमि का पट्टा भी उन्हें प्रदान किया जाए। चकरार ग्राम से बड़ी संख्या में महिला और पुरुष जिला मुख्यालय कलेक्टर के पास आवेदन देने पहुंचे थे जिनमें मद्धू सिंह, सोहन सिंह धुर्वे, छोटेलाल मरकाम, सागर सिंह मरावी सहित बड़ी संख्या में महिला और पुरुष मौजूद रहे।



