पटवारी, आर आई और नायब तहसीलदार से होगी वसूली
नीरज श्रीवास्तव
ओलापाला मुआवजा में वरती थी आर्थिक अनियमितताए
जनपथ टुडे, डिंडोरी, 24 नवम्बर 2020, ओला पाला की चपेट में आने से प्रभावित पड़ती भूमि पर खड़ी फसल नुकसान के मुआवजा कार्य में वित्तीय अनियमितता बरतना तीन राजस्व नुमाईदों को भारी पड़ गया है। जांच के बाद आर्थिक गड़बड़ी सिद्ध होने के चलते तत्कालीन एसडीएम महेश मंडलोई ने संबंधित हल्का पटवारी को सस्पेंड कर दिया था और आठ महीने तक चली जांच के बाद वर्तमान SDM ने संबंधित पटवारी, राजस्व निरीक्षक और नायाब तहसीलदार से शासकीय राशि बसूलने के आदेश जारी किये हैं।
मामला जिले में शाहपुरा अनुविभाग का है जहां महेंदवानी सर्किल के पटवारी हल्का नंबर 110 कुर्करा राजस्व निरीक्षक मंडल राई अंतर्गत खातेदार किसानों की पड़ती भूमि पर ओला वाला से प्रभावित फसल के पात्र हितग्राही कृषकों को जनवरी 2020 में मुआवजा राशि जारी की थी। शासन द्वारा प्राकृतिक आपदा से प्रभावित कृषकों को राजस्व अधिनियम की धारा 6-4 प्रावधान के तहत प्रदाय राशि नियमानुसार प्रभावित पात्र किसान के खाते में जमा कराने के दिशा निर्देश शासन ने जारी किए थे। लेकिन संबंधित हल्का पटवारी सोहन साहू ने वरिष्ठ अधिकारियों के निर्देशों की अवहेलना कर अपात्र व्यक्तियों के खातों में मुआवजा राशि आवंटित कर दी थी शासकीय राशि में आर्थिक गड़बड़ी की भनक लगते ही तत्कालीन एसडीएम महेश मंडलोई ने मामले की जांच हेतु 9 अप्रैल 2020 को तहसीलदार एन एल वर्मा की अगुवाई में राजस्व निरीक्षक और पटवारियों की जांच टीम गठित कर रिपोर्ट तलब की थी। जिसमे पटवारी हल्का क्रमांक 110 सोहन साहू द्वारा प्रभार बाले तीन हल्का क्षेत्रों में 9लाख 36 हज़ार से अधिक की मुआवजा राशि में अनियमितता बरतने की गफलत सिद्ध पाई गई थी। जिसके आधार पर तत्कालीन अनुविभागीय अधिकारी राजस्व शाहपुरा ने 17 मार्च 2020 को पटवारी सोहन साहू को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया था और जांच शुरू की थी। जिसके बाद 8 माह तक चली जांच के दायरे में पटवारी सोहन साहू सहित संबंधित राजस्व निरीक्षक सुखदेव सिंह भवेदी और नायाब तहसीलदार हिम्मत भवेदी भी आ गए, जिनके विरुद्ध वर्तमान SDM शाहपुरा अंजू विश्वकर्मा IAS ने वित्तीय अनियमितता की राशि वसूलने के आदेश जारी किए हैं। इसके साथ ही अपचारी कर्मचारी निलंबित पटवारी सोहन साहू के आवेदन पर बहाली आदेश जारी कर, इनको निलंबित अवधि में नो वर्क नो पेमेंट एवं दो वेतन वृद्धि रोकने से भी दंडित किया गया है।