आंधी तूफान ने उजाड़ा गरीबों का आशियाना दर्जनों घर तबाह
प्रकाश मिश्रा :-
कुछ लोग रिश्तेदारों के यहां तो कुछ ने आंगनबाड़ी में गुजारी रात
प्रशासन से नही मिली पीड़ित परिवारों को मदद
जनपथ टुडे, डिंडोरी, 21 अगस्त 2021, शुक्रवार का दिन सहजपुरी के बाशिंदों के लिए तबाही लेकर आया, चक्रवाती तूफान के कहर ने भरी बरसात में दर्जनों परिवारों को बेघर कर दिया। तूफान की चपेट में आये लोगों के पास न तो खाने योग्य अनाज बचा और न ही पहनने ओढ़ने के कपड़े बचे। भरी बरसात में तूफान के कहर से पीड़ित परिवारों ने अपने रिश्तेदारों और आंगनवाड़ी में रात गुजारी।
घटना जिले की डिंडोरी जनपद पंचायत के अंतर्गत ग्राम पंचायत सहजपुरी की है जो शहपुरा विधानसभा में आता है। ग्रामीणों के बताये अनुसार शुक्रवार को लगभग 3.30 बजे आंधी तूफान आया और देखते ही देखते दर्जनों मकानों को अपनी चपेट में ले लिया। तूफान का आवेग इतना तेज था कि उसके कारण बड़े बड़े दरख्त धराशायी हो गए वही बिजली के पोल अपनी जगह से उखड़ गए तार टूट कर घरों के ऊपर गिर गए। मकानों के छप्पर उड़ गए बाड़ियों में लगी मक्का की फसल तबाह हो गई।
घरों में रखा अनाज खराब हो गया साथ ही पहननें ओढ़ने के कपड़े तूफान में उड़ गए। भरी बरसात में एवं त्यौहार के ठीक पहले अचानक आई इस तबाही ने गरीब परिवारों का आशियाना उजाड़ दिया। जिसके कारण जनजीवन अस्त व्यस्त हो गया। अभी स्थिति यह है कि पीड़ित परिवारों के पास न रहने का ठिकाना है और न खाने के लिए अनाज। अचानक आई विपदा में कोई मदद अभी तक पीड़ित परिवारों को नहीं मिल पाई है। जिसके कारण प्रशासन और जनप्रतिनिधियों के खिलाफ ग्रामीणों में रोष देखा जा रहा है।
शुक्रवार को लगभग 3:30 बजे की घटना ग्रामीणों के द्वारा बताई जा रही है जिसके बाद महज जांच के नाम पर खानापूर्ति करने गए राजस्व के अधिकारी जिन्होंने पीड़ित परिवारों का नाम गांव पता लिखकर कार्रवाई पूरी करने का आश्वासन देकर अपनी जिम्मेदारी से इतिश्री कर ली। पीड़ित परिवारों का कहना है कि उनके पास ना तो रहने का साधन है ना ही खाने के लिए अनाज और ना पहनने के कपड़े जिला प्रशासन के कोई भी उच्च अधिकारी एवं क्षेत्र के जनप्रतिनिधियों ने अभी तक उनकी कोई सुध नहीं ली है।
क्षेत्रीय विधायक सहित जनपद पंचायत के जनप्रतिनिधियों के लिए ग्रामीणों में भारी नाराजगी देखी गई। मदद के नाम पर पंचायत के द्वारा कुछ परिवारों को 10 किलो सूखा अनाज चावल प्रदान किया गया है जो इतनी बड़ी आपदा के समय नाकाफी है। फिलहाल पीड़ित परिवार प्रशासन से मदद की आस लगाए हुए हैं देखना होगा कि इन पीड़ित परिवारों को कब तक मदद पहुंच पाती है।