ए डी एम रमेश कुमार सिंह को किया गया निलंबित
भाजपा नेताओं की शिकायत पर प्रदेश शासन ने तत्काल लिया निर्णय
जनपद टुडे,डिंडोरी, अप्रैल, 9, 2020, आज दोपहर 11:00 बजे जिला कलेक्ट्रेट में जिला स्तरीय संकट प्रबंधन समूह की बैठक में एडीएम रमेश कुमार सिंह द्वारा पूर्व भाजपा अध्यक्ष एवं चिकित्सक सुनील जैन के साथ की गई अभद्रता एवं धक्का-मुक्की के मामले को लेकर भाजपा नेताओं द्वारा जिला कलेक्टर से कार्यवाही की मांग की गई थी। पार्टी नेताओं द्वारा अपने प्रदेश स्तरीय नेताओं को भी घटना की जानकारी दिए जाने के बाद इस बात भाजपा नेताओं द्वारा इस बात की पुष्टि की गई थी कि मामले को गंभीरता से लेते हुए मुख्यमंत्री द्वारा संयुक्त कलेक्टर को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है।
देर शाम इस आशय का आदेश पत्र क्रमांक 6/2/1/0002GAD-2-01 दिनांक 9 अप्रैल 2020, उप सचिव, मध्यप्रदेश शासन सामान्य प्रशासन विभाग कार्मिक के हस्ताक्षर से जारी किया गया जिसमें कार्यालय कलेक्टर डिंडोरी के पत्र क्रमांक 40/ स्था/ 2020, दिनांक 9 अप्रैल 2020 के अनुसार घटनाक्रम के आधार पर रमेश कुमार सिंह, संयुक्त कलेक्टर डिंडोरी का व्यवहार मध्यप्रदेश सिविल सेवा आचरण नियम 1965 के नियम 3 के अनुरूप नहीं होकर नियम 1966 के अंतर्गत दंडनीय है, अतः राज्य शासन द्वारा उन्हें नियम 1966 के नियम 9(1)( क) के अंतर्गत तत्काल प्रभाव से निलंबित किया जाता है। निलंबन की अवधि में इनका मुख्यालय कार्यालय आयुक्त जबलपुर नियत किया जाता है।
गौरतलब है कि नगर के प्रतिष्ठित चिकित्सक एवं भाजपा नेता डॉक्टर सुनील जैन से अभद्रता करते हुए उक्त अधिकारी द्वारा मर्यादा की सारी सीमाएं लांघते हुए जिस तरह का व्यवहार किया गया उसकी पूरे जिले में निंदा हो रही थी। इसके पूर्व विगत कुछ माह पूर्व भी डूंगरिया जलाशय डूब प्रभावितों के साथ बातचीत के दौरान उक्त अधिकारी द्वारा की जा रही बातो से ग्रामीण उत्तेजित हो गए थे और फिर पुलिस द्वारा उक्त अधिकारी को कड़ी मशक्कत के बाद वहां से पुलिस अभिरक्षा में निकाला जा सका था। आज भी इनके द्वारा बदतमीजी की हद पार किए जाने की चर्चा प्रत्यक्षदर्शियों द्वारा बताई जा रही है जबकि डॉ जैन जाहिर तौर पर एक सुलझे हुए साफ-सुथरी छवि के व्यक्ति हैं।घटना के बाद उक्त अधिकारी द्वारा अपनी सफाई देते हुए पत्रकारों को बताया गया था कि वह कोरोना संक्रमण के चलते जिले में लागू धारा 144 के परिपालन हेतु व्यवस्था बनाने कानून व्यवस्था बनाने की दृष्टि से उचित कदम उठा रहे थे किंतु डॉ सुनील जैन के द्वारा उनसे अभद्रता की गई और अपना वाहन पार्किंग से न हटाने के कारण उनके द्वारा विवाद की स्थिति निर्मित की गई। जबकि वहां मौजूद लोगों द्वारा ए डी एम् द्वारा किए गए व्यवहार को घोर आपतिजनक बताया जा रहा था।