जबलपुर हाईकोर्ट का फैसला – मध्यप्रदेश में 14% ओबीसी आरक्षण ही रहेगा लागू

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जनपथ टुडे, जबलपुर, 3 नवंबर 2020, मध्य प्रदेश के 28 सीटों पर होने जा रहे उपचुनाव की वोटिंग से पहले बड़ी खबर सामने आई है। मध्य प्रदेश हाईकोर्ट में 27% ओबीसी आरक्षण पर रोक लगा दी है। अब मध्य प्रदेश में ओबीसी वर्ग के लिए 14% आरक्षण ही रहेगा। इस मामले में कोर्ट में अंतिम सुनवाई 1 दिसंबर को होगी।

दरअसल मध्यप्रदेश हाईकोर्ट में मध्यप्रदेश में बढ़े हुए आरक्षण को लेकर लगातार सुनवाई चल रही है कई बार आरक्षण संबंधित याचिका में सुनवाई हुई और मामला आगे के लिए टलता रहा। कोर्ट में कल पिछड़ा वर्ग आरक्षण संबंधित याचिका पर सुनवाई की गई। कल की सुनवाई में हाईकोर्ट ने कहा है कि फिलहाल मध्य प्रदेश में 14% आरक्षण लागू रहेगा। इसके साथ ही हाईकोर्ट ने कहा कि 27% बढ़े हुए पिछड़ा वर्ग आरक्षण पर लगाई गई रोक भी यथावत ही रहेगी। अब आरक्षण से जुड़े सभी संबंधित मामलों की सुनवाई आगामी 1 दिसंबर को होगी तब तक के लिए हाईकोर्ट ने 14% आरक्षण को लागू रखने के निर्देश दिए हैं। खास बात यह 27% ओबीसी आरक्षण पर रोक लगाने से राज्य की सरकारी नौकरियों में ओबीसी अभ्यर्थियों को इसका लाभ नहीं मिलेगा।

वर्तमान में 50 फ़ीसदी आरक्षण

प्रदेश में वर्तमान में अनुसूचित जाति को 16%, जनजाति को 20% और पिछड़ा वर्ग को 14% फ़ीसदी आरक्षण दिया जा रहा है। इस तरह तीनों वर्गों को मिलाकर 50 फ़ीसदी आरक्षण है। सत्ता में आते ही कमलनाथ सरकार ने राज्य की नौकरियों में 27% पिछड़ा वर्ग को आरक्षण करने से आरक्षण की सीमा पढ़कर 63% हो गई थी। जो कि सुप्रीम कोर्ट के दिशानिर्देशों का उल्लंघन है। पिछली कमलनाथ सरकार ने सत्ता में अन्य पिछड़ा वर्ग को 14% से 27% आरक्षण देने का कानून बना दिया गया था जिसके बाद बीजेपी, कई सामाजिक संगठनों और छात्रों के द्वारा हाईकोर्ट में चुनौती दी गई थी फिलहाल इस मामले में हाईकोर्ट ने अंतरिम आदेश दिया है कि सरकार किसी भी भर्ती प्रक्रिया में 27% आरक्षण लागू न करें।

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