जिला पंचायत अध्यक्ष का आरोप निकला निराधार

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डिंडोरी – जनपथ टुडे, 25.02.2020

डूब प्रभावित मरकाम से नाराज

मुख्यमंत्री को नहीं सुना सके अपनी व्यथा

ग्रामीणों ने नजरबंद और पाबंदी के आरोप किए खारिज

जनपथ,डिंडोरी, फर. 25,2020 कल जिला मुख्यालय में प्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ के प्रवास के दौरान जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती ज्योति धुर्वे द्वारा हंगामा किए जाने के घटनाक्रम के बाद देर शाम उनके सरकार और मुख्यमंत्री को महिला एवं आदिवासी विरोधी बताते हुए गंभीर आरोप लगाते हुए एक और सनसनीखेज खुलासा किया गया था कि अंडई डूब क्षेत्र के ग्रामीणों को शस्त्रबल तैनात कर डिंडोरी आने से रोका गया हैं और उन्हें अघोषित तौर पर बंधक बनाए जाने का आरोप जिलाध्यक्ष ज्योति धुर्वे द्वारा लगाया गया था।

जिला पंचायत अध्यक्ष के गंभीर आरोपों के बाद इस तत्व की पड़ताल में गई हमारी टीम ने ग्रामीणों से चर्चा की तो इस बात का खुलासा तो हुआ कि ग्रामीणों में सरकार और केबिनेट मंत्री ओमकार सिंह मरकाम के प्रति अत्यधिक आक्रोश हैं और वे इनका खुला विरोध कर रहे हैं।

क्या हैं मामला??

ग्राम के हेम सिंह मरकाम व लखन सैयाम ने बताया कि ग्राम वासियों का प्रतिनिधिमंडल 23 फरवरी को जिले के कैबिनेट मंत्री ओमकार मरकाम जी से मिलने उनके डिंडोरी स्थित निवास पर गया और मांग की हम लोग डूब प्रभावितों की व्यथा प्रदेश के मुखिया को बताना चाहते हैं इस पर उन्होंने डूब प्रभावितों के प्रति संवेदना व्यक्त करते हुए आश्वासन दिया था कि आप लोगों की मुलाकात मुख्यमंत्री से जरूर करवाई जावेगी ग्रामवासियों के लिए वाहनों की व्यवस्था कर दी है, आप लोग कल आए। किंतु 24 फरवरी को अंडई, उमरिया आदि डूब प्रभावितों ग्रामों में वाहन उपलब्ध नहीं करवाए गए जबकि ब्लॉक और जिले के हर ग्राम से लोगों का लाना, ले जाना, खाने आदि की व्यापक स्तर पर व्यवस्थाएं मंत्री और सरकार के निर्देशों पर प्रशासन द्वारा किए गए थे। जिससे यह बात उजागर होती हैं कि शासन के मंत्री और स्थानीय विधायक ओमकार मरकाम ने जानबूझ कर वाहन नहीं भेजें और ग्रामीणों को मुख्यमंत्री से अपनी व्यथा कहने से रोका गया।

इस पूरे घटनाक्रम में हमारे प्रतिनिधि अशोक श्रीवास्तव द्वारा इस सम्बन्ध में श्रीमती ज्योति से संपर्क साधने की कोशिश भी कि किन्तु उनसे बात नहीं हो सकी।

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